‘मुजफ्फरनगर में ‘शोरगुल’ पर प्रतिबंध’

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नई दिल्ली। फिल्म ‘शोरगुल’ के निर्माताओं ने कहा है कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के शहर मुजफ्फरनगर में फिल्म पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। फिल्म में 2013 के मुजफ्फरनगर दंगों को भी उठाया गया है।

फिल्म निर्माताओं ने मंगलवार को एक बयान में दावा किया कि फिल्म में एक संवेदनशील मुद्दे को उठाया गया है, इसलिए सांप्रदायिक हिंसा भड़कने के डर से मुजफ्फरनगर के जिलाधीश ने शहर के सभी सिनेमाघरों में फिल्म के प्रदर्शन पर रोक लगा दी है।

shorgul jimmy sheirgill.

फिल्म में मुजफ्फरनगर हिंसा के अलावा गोधरा, बाबरी मस्जिद दंगों जैसे गंभीर विषयों को भी उठाया गया है। साथ ही फिल्म में नौकरशाहों के कुकर्मों, चालबाजियों और कुछ हाई प्रोफाइल शख्सियतों से जुड़े विवादास्पद मामलों का भी जिक्र है।

फिल्म के निर्माताओं में से एक व्यास वर्मा ने कहा, “हमने बार-बार कहा है कि ‘शोरगुल’ किसी विशिष्ट घटना पर आधारित नहीं है, बल्कि यह समाज में जो हो रहा है, उसका प्रतिबिंब है। इसमें उन मुद्दों को उठाया गया है जो देश के लिए चिंता का विषय हैं। उत्तर प्रदेश केवल फिल्म की पृष्ठभूमि है।”

उन्होंने कहा, “यह खबर बेहद दुर्भाग्यपूर्ण और दुखद है। मैं प्रशासन से पूछना चाहता हूं कि वह खासतौर पर मुजफ्फरनगर में फिल्म पर क्यों रोक लगा रहा है। क्या उन्हें किसी खास बात का डर है? क्या मुजफ्फरनगर के लोगों को यह देखने का हक नहीं है कि देश में क्या हो रहा है? हर नागरिक को फिल्म देखने का अधिकार है क्योंकि फिल्म में आम आदमी की आवाज उठाई गई है।”

इस महीने के शुरू में विश्व हिदू परिषद के एक नेता मिलन सोम ने फिल्म के खिलाफ इलाहाबाद उच्च न्यायालय में जनहति याचिका दायर की थी, जिसे न्यायालय ने खारिज कर दिया था।

फिल्म के सह निर्माता अमन सिंह ने कहा, “हमारी इच्छा किसी भी राजनैतिक दल को बदनाम करने की नहीं है। हम निश्चित ही यह चाहते हैं कि महत्वपूर्ण मुद्दे उठें और चाहते हैं कि लोग फिल्म देखकर ऐसे सवालों के साथ घर लौटें जिसके जवाब एक अधिक तार्किक भारत की तरफ ले जाते हों।”

फिल्म 24 जून को रिलीज होगी।

-आईएएनएस